December 16, 2025 12:57 am

यूपी में बिजली प्राइवेट हाथों में देने की तैयारी, कर्मचारियों में रोष

लखनऊ । उत्तर प्रदेश सरकार ने बिजली विभाग को निजी हाथों में देने की तैयारी कर ली है। इसके पीछे लगातार बढ़ रहा घाटे को सरकार आधार बना रही है। वहीं राज्य सरकार विद्युत मूल्य के बकाये की रिकवरी भी नहीं कर पा रही है। ऐसे में सरकार ने प्राइवेट पब्लिक पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल अपनाने की तैयारी कर रही है। चर्चा है कि इसकी शुरुआत दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम और पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम से होगी। प्रबंधन के पद पर प्रबंध निदेशक संबंधित निजी क्षेत्र की कंपनी का होगा। वहीं, कारपोरेशन का अध्यक्ष सरकार का प्रतिनिधि होगा। राज्य सरकार की इन तैयारियों की सुगबुगाहट विभाग के कर्मचारी संगठनों को हुई तो उन्होंने न सिर्फ नाराजगी व्यक्त की बल्कि संगठनों ने निजीकरण के विरोध में आंदोलन का ऐलान कर दिया।
दरअसल, गत दिवस राजधानी लखनऊ के शक्ति भवन में पावर कारपोरेशन की बैठक हुई, जिसमें विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की गई। सभी से घाटे से निपटने के लिए सुझाव मांगे गए। सभी ने एक सुर में कहा कि पीपीपी मॉडल के जरिए निजी क्षेत्र की कंपनी को जोड़कर बिजली व्यवस्था में सुधार किया जा सकता है। बैठक में बताया गया कि प्रबंध निदेशक कंपनी का होगा तो वहीं कारपोरेशन अध्यक्ष सरकार का प्रतिनिधि रहेगा। इसके अलावा अधिकारियों और कर्मचारियों के हितों को सुरक्षित रखा जाएगा। साथ ही कर्मचारियों को पेंशन के साथ अन्य सुविधाओं का भी लाभ मिलेगा। बैठक में सुझाव आया कि जहां घाटा सबसे ज्यादा है और सभी कोशिशों के बाद भी सुधार नहीं हो रहा है, वहां इस व्यवस्था को लागू किया जाएगा।

BBC LIVE
Author: BBC LIVE

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