December 14, 2025 7:12 pm

2024 में जलवायु परिवर्तन से दुनिया में औसतन 41 दिन की बढ़ोतरी, 3,700 से अधिक मौतें

दुनिया में 2024 में जलवायु परिवर्तन की वजह से भीषण गर्मी के दिनों में औसतन 41 दिन की वृद्धि हुई है। इसकी वजह मानव-जनित जलवायु परिवर्तन रहा। यही नहीं,  2024 में जलवायु परिवर्तन के चलते चरम मौसम की घटनाओं ने विश्वभर में 3,700 से अधिक लोगों की जान ली और लाखों लोगों को विस्थापित किया है। यह खुलासा वर्ल्ड वेदर एट्रिब्यूशन (डब्ल्यूडब्ल्यूए) और क्लाइमेट सेंट्रल के वैज्ञानिकों ने किया है।

वैज्ञानिकों ने पाया कि जलवायु परिवर्तन ने इस साल के अधिकांश वक्त चरम मौसम की घटनाओं को और अधिक गंभीर बना दिया। बढ़ते तापमान के साथ 2024 अब तक के सबसे गर्म साल में से एक के रूप में चिह्नित किया गया है। डब्ल्यूडब्ल्यूए चीफ जलवायु वैज्ञानिक ने कहा कि जलवायु परिवर्तन ने हीटवेव, सूखे, उष्णकटिबंधीय तूफानों और भारी बारिश की तीव्रता और आवृत्ति को बढ़ा दिया है। इसके कारण लाखों लोगों की जान और आजीविका पर असर पड़ा है। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर जीवाश्म ईंधन का इस्तेमाल नहीं घटाया गया, तो यह परेशानी और भी गंभीर हो जाएगी।

कुछ देशों ने 150 दिनों से अधिक की खतरनाक गर्मी देखी
वैज्ञानिकों के मुताबिक, 2024 में जलवायु परिवर्तन ने 29 में से 26 अत्यधिक मौसम की घटनाओं जैसे बाढ़, तूफान और सूखे को अधिक गंभीर बना दिया। गर्म समुद्री जल और गर्म हवा ने अधिक शक्तिशाली तूफानों और रिकॉर्ड तोड़ बारिश को जन्म दिया। इस साल पृथ्वी ने अब तक के सबसे गर्म दिन और लगातार 13 महीनों तक गर्म मौसम दर्ज किया। कुछ क्षेत्रों में 150 दिनों से अधिक की अत्यधिक गर्मी देखी गई, खासकर सबसे गरीब और कम विकसित देशों में।

BBC LIVE
Author: BBC LIVE

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