नेशनल न्यूज़। राष्ट्रीय राजधानी की एक अदालत ने आबकारी नीति मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की ईडी की हिरासत बृहस्पतिवार को एक अप्रैल तक बढ़ा दी। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आम आदमी पार्टी (आप) के प्रमुख केजरीवाल की सात दिन की हिरासत का अनुरोध किया, लेकिन अदालत ने कहा कि उन्हें एक अप्रैल को दिन में 11 बजे अदालत में पेश करना होगा। ईडी ने केजरीवाल को राउज एवेन्यू अदालत की विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा के समक्ष पेश किया क्योंकि उनकी वर्तमान हिरासत बृहस्पतिवार को समाप्त हो रही थी।
मुख्यमंत्री जवाब देने में टालमटोल कर रहे- ED
ईडी ने केजरीवाल की और सात दिन की हिरासत का अनुरोध करते हुए कहा कि मामले से जुड़े कुछ लोगों से उनका आमना-सामना कराने की जरूरत है। ईडी ने कहा कि मुख्यमंत्री केजरीवाल जवाब देने में टालमटोल कर रहे हैं और अपने डिजिटल उपकरणों के पासवर्ड का खुलासा नहीं कर रहे हैं। केजरीवाल ने अपनी दलील में कहा, ‘‘आबकारी नीति मामले में चार गवाहों ने मेरा नाम लिया है। क्या किसी मुख्यमंत्री को गिरफ्तार करने के लिए चार बयान पर्याप्त हैं?”
भ्रष्ट होने की झूठी तस्वीर पेश की गई- केजरीवाल
केजरीवाल ने आरोप लगाया कि शरत चंद्र रेड्डी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को 55 करोड़ रुपये का चंदा दिया। मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘मेरे पास इसके सबूत हैं। लेन देन साबित हो चुका है क्योंकि उन्होंने (रेड्डी) गिरफ्तारी के बाद धनराशि दान की थी।” रेड्डी अरबिंदो फार्मा लिमिटेड के निदेशक हैं और मामले में सह-आरोपी से सरकारी गवाह बने लोगों में से एक हैं। केजरीवाल ने कहा कि देश के सामने आम आदमी पार्टी के भ्रष्ट होने की झूठी तस्वीर पेश की गई है और वह ईडी की जांच का सामना करने के लिए तैयार हैं।
मुझे गिरफ्तार क्यों किया गया
केजरीवाल ने कोर्ट के समक्ष अपनी गिरफ्तारी का विरोध करते हुए कहा, ‘मुझे गिरफ्तार क्यों किया गया जबकि किसी भी अदालत ने मुझे दोषी नहीं माना है। ईडी की मंशा मुझे अरेस्ट करने की थी। मेरा नाम सिर्फ चार लोगों के बयान में आया। जिन लोगों ने मेरे पक्ष में बयान दिया था उनके बयान जबरन मेरे विरोध में दिलावाए गए हैं। इस पर जज ने कहा कि आपने लिखित में बयान क्यों नहीं दिए।
यह राजनीतिक षड़यंत्र, जनता इसका जवाब देगी
इससे पहले कोर्ट में जाते वक्त मीडिया के सवाल का जवाब देते हुए केजरीवाल ने कहा कि यह राजनीतिक षड़यंत्र हैं और जनता इसका जवाब देगी। केजरीवाल को विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा के समक्ष पेश किया गया। इस दौरान अदालत में दिल्ली सरकार की मंत्री आतिशी, गोपाल राय और सौरभ भारद्वाज के साथ ही मुख्यमंत्री की पत्नी सुनीता केजरीवाल भी थीं। अदालत के सूत्रों ने कहा कि ईडी मुख्यमंत्री की हिरासत अवधि बढ़ाने की मांग कर सकती है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े धनशोधन मामले में 21 मार्च को आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक केजरीवाल को गिरफ्तार किया था और बाद में यहां एक अदालत ने मुख्यमंत्री को 28 मार्च (आज) तक एजेंसी की हिरासत में भेज दिया था। आप नेताओं ने कई मौकों पर केजरीवाल के इस्तीफे से इनकार किया और जोर देकर कहा कि वह (केजरीवाल) जेल के अंदर से अपनी सरकार चलाएंगे। उपराज्यपाल सक्सेना ने बुधवार को कहा था, ”मैं दिल्ली के लोगों को आश्वस्त कर सकता हूं कि सरकार जेल से नहीं चलेगी।”