रायपुर। छत्तीसगढ़ के चर्चित शराब घोटाला मानले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) रायपुर ने रिटायर्ड आइएएस अधिकारी अनिल टुटेजा को गिरफ्तार किया है। उन्हें मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट 2002 के प्रावधानों के तहत विगत 21 अप्रैल को गिरफ्तार किया गया। ईडी ने आज एक ट्वीट करते हुए यह जानकारी दी।
दूसरी ओर खुलासा हुआ है कि टुटेजा सरकारी गवाह बन सकता है। अगर ऐसा हुआ तो पूर्व सीएम भूपेश बघेल की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। इसी तरह पूर्व मुख्य सचिव, रिटायर्ड आइएएस विवेक ढांड की परेशानी भी बढ़ सकती है। खबर है कि रविवार के दिन ईडी के अफसरों ने ढांड से जुड़े दस्तावेजों को फिर से खंगाला है। शराब घोटाले के दो आरोपियों ने विवेक ढांड का नाम लिया है, ऐसा कहा जा रहा है।
दूसरी ओर रिटायर्ड आइएएस विवेक ढांड ने मौजूदा हालत को देखते हुए एहतियात बरतना शुरू कर दिया है। कुछ न्यूज़ वेब्सीटेस की माने तो गिरफ्तारी से बचने के लिए ढांड छत्तीसगढ़ छोड़ सकते हैं या से देश छोड़ कर भाग सकते हैं।
बता दें कि, अनिल टुटेजा फिलहाल रिमाण्ड पर जेल में हैं। एक आईएएस अधिकारी के तौर पर अपनी सेवा दे चुके हैं। वे 2023 में रिटायर हुए थे। टुटेजा राज्य सेवा के अफसर हैं, लेकिन रमन सरकार में उन्हें आइएएस प्रमोट किया गया था। वे राज्य के उद्योग और वाणिज्य विभाग में संयुक्त सचिव के पद पर तैनात थे।
कोर्ट ने फैसला रखा सुरक्षित
शराब घोटाला मामले में पूर्व आईएएस अनिल टुटेजा की रिमांड खत्म होने पर ईडी ने टुटेजा को आज विशेष कोर्ट में पेश किया गया। ईडी ने अनिल टुटेजा का छह दिन का फिर रिमांड मांगी है। टुटेजा के वकील ने बताया कि अनावश्यक रूप से रिमांड मांगी जा रही है। वहीं बचाव पक्ष के वकील ने कहा कि शराब स्कैम से संबंधित कुछ भी पूछताछ नहीं हुई।
कोर्ट में रिमांड पर बचाव पक्ष और अभियोजन पक्ष के बीच बहस पूरी होने के बाद न्यायालय ने फैसला सुरक्षित रखा है। बता दें कि शराब घोटाला मामले में टुटेजा पांच दिन की ईडी रिमांड पर थी। आज रिमांड खत्म होने पर उन्हें फिर अतुल कुमार श्रीवास्तव की कोर्ट में पेश किया गया, जहां दोनों पक्षों की बहस पूरी होने के बाद न्यायालय ने फैसला को सुरक्षित रखा है।